आईपीएम किसान खेत पाठशाला एक इंडोनेशियन पैटर्न या मॉडल के अनुसार अपने देश में आई पीएम को प्रचलित या लोकप्रिय बनाने के लिए कृषकों को आईपीएम के बारे में अनौपचारिक शिक्षा विधि से शिक्षित करने का एक तरीका है जिसमें कृषकों की शिक्षा के साथ-साथ आईपीएम का प्रचार एवं प्रसार कृषकों तथा राज्य सरकार के कृषि प्रचार एवं प्रसार अधिकारियों के बीच में किया जा सके l
आईपीएम किसान खेत पाठशाला कार्यक्रम विभिन्न फसलों में फसल अवधि के दौरान 14 सप्ताहों के लिए आयोजित किया जाता है जिसमें 30 कृषकों को तथा राज्य सरकार के पांच कृषि प्रचार एवं प्रसार कार्यकर्ताओं को प्रति सप्ताह एक बार एक ही खेत में जाकर केंद्रीय एकीकृत नासि जीव प्रबंधन केंद्रों की कोर ट्रेनिंग टीम दिनेश सुविधा प्रदाता अथवा फैसिलिटेटर कहते हैं के द्वारा खेत में ही प्रशिक्षित किया जाता है इस कार्यक्रम का उद्देश्य यह है कि प्रशिक्षित किसान एवं कृषि प्रचार एवं प्रसार कार्यकर्ता आगे जाकर आने आने वाली फसल के दौरान इसी प्रकार की आईपीएम खेत पाठशाला ओं का स्वतंत्र रूप से आयोजन कर सकें l अर्थात प्रशिक्षित किसान अपने सहयोगी किसानों को प्रशिक्षित कर सकें तथा प्रशिक्षित कृषि प्रचार एवं प्रसार कार्यकर्ता भी स्वतंत्र रूप से आईपीएम खेत पाठशाला ओं का आयोजन कर सके l जिससे इस कार्यक्रम का गुणात्मक प्रभाव देखने को भी मिल सके और कृषकों के बीच में आई पीएम का प्रचार एवं प्रसार किया जा सके l आई पीएम किसान खेत पाठशाला के आयोजनों के बात उसी गांव में एक खेत दिवस का आयोजन किया जाता है जिसमें गांव के संपूर्ण कृषकों को बैठाकर के किए गए कार्यक्रम तथा उनसे प्राप्त अनुभव एवं उपलब्धियों के बारे में विस्तृत चर्चा की जाती है तथा आगे की कार्य योजना भी बनाई जाती है l
आई पीएम किसान खेत पाठशाला का पाठ्यक्रम इस प्रकार से बनाया जाता है कि वह फसल पारिस्थितिक तंत्र का भलीभांति विश्लेषण कर सकें और उसके बाद सामूहिक चर्चा के द्वारा किसी विशेष निर्णय पर आ सके उस निर्णय को अपने खेत में क्रियान्वयन कर सकें l
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